फसल कटनी प्रयोग का निरीक्षण, 15.87 किलो उपज मिली
जिला पदाधिकारी ने सिंचाई आधारित और गैर सिंचाई आधारित खेती के क्षेत्रफल का डेटा उपलब्ध कराने को कहा। साथ ही हर खेत पानी योजना के तहत सभी खेतों तक जलापूर्ति सुनिश्चित करने के लिए योजना बनाकर कार्य करने का आदेश दिया।

कृषि वर्ष 2024-25 के फसल कटनी प्रयोग का निरीक्षण मंगलवार को औधे पंचायत के राजस्व ग्राम औधे में किया गया। निरीक्षण जिला पदाधिकारी ने किया। किसान रंजीत कुमार के खेसरा संख्या 737 में 10×5 मीटर क्षेत्रफल में गेहूं की कटनी की गई। कटनी के बाद फसल का वजन 15 किलो 870 ग्राम निकला। यह आंकड़ा सांख्यिकी विभाग के सीसीई एप पर अपलोड किया गया।
फसल कटनी प्रयोग सैंपल सर्वे के तहत किया गया। इसका उद्देश्य उपज दर और कुल उत्पादन का आकलन करना है। निरीक्षण के बाद जिला पदाधिकारी ने डेरा थ्रेशर यंत्र को भी देखा।
जिला सांख्यिकी पदाधिकारी ने बताया कि जिले में कुल 270 स्थलों से सैंपल लिया जाना है। अब तक 50 स्थलों पर सैंपलिंग हो चुकी है। जिला पदाधिकारी ने कार्य में तेजी लाने का निर्देश दिया।
जिला कृषि पदाधिकारी ने बताया कि किसानों को बीज उनके कार्यालय से दिए गए थे। जिले में मुख्य रूप से वर्षा आधारित खेती होती है। इसी कारण धान की रोपनी और कटाई में देरी होती है। इसके बाद ही गेहूं की बुआई होती है। बढ़ते तापमान में गेहूं की कटनी होने से उत्पादकता पर असर पड़ता है।
निरीक्षण के समय जिला कृषि पदाधिकारी, भूमि सुधार उप समाहर्ता-सह-जिला गोपनीय पदाधिकारी, सहायक सांख्यिकी पदाधिकारी, प्रखंड कृषि पदाधिकारी, कृषि समन्वयक, प्रयोगकर्ता किसान सलाहकार और औधे पंचायत के मुखिया मौजूद थे।